एक शे'र
क्या-क्या नहीं था दीद को लेकिन ये मेरी आँख ,
देखा उसे तो सिर्फ़ उसे देखती रही ।
राकेश 'नादान'
Rakesh Tyagi
एक शे'र
क्या-क्या नहीं था दीद को लेकिन ये मेरी आँख ,
देखा उसे तो सिर्फ़ उसे देखती रही ।
राकेश 'नादान'